मैं उन सज्जन के घर पहुंचा तो देखा बड़ी सी शीशे की अलमारी में एक से बढ़कर एक पहुंचे हुए लेखकों की सुन्दर ढंग से सुसज्जित कृतियाँ उन सज्जन की साहित्यिक अभिरूचि को इंगित कर रही हैं। मुझे ईर्ष्या हो रही थी कि यह सज्जन तो अपने व्यस्ततम् समय में से कुछ समय पुस्तकों को देते हैं जबकि मैं अपने ही कामों का रोना लिए बैठा रहता हूँ। खैर कोई बात नहीं आज तो मौका मिल रहा है उनके नहा-धो कर आने तक जरा इन विशिष्ट पुस्तकों पर हाथ फेर कर ही संतुष्ट हो लूँ। लेकिन आश्चर्य मैंने पुस्तकों को निकाला तो उनमें किसी के फिंगरप्रिंट मौजूद नहीं थे।
I am an Astrologer,Amateur Singer,Poet n Writer. Interests are Spirituality, Meditation,Classical Music and Hindi Literature.
Sunday, 25 May 2014
आधुनिक हॉबी (लघुकथा)
मैं उन सज्जन के घर पहुंचा तो देखा बड़ी सी शीशे की अलमारी में एक से बढ़कर एक पहुंचे हुए लेखकों की सुन्दर ढंग से सुसज्जित कृतियाँ उन सज्जन की साहित्यिक अभिरूचि को इंगित कर रही हैं। मुझे ईर्ष्या हो रही थी कि यह सज्जन तो अपने व्यस्ततम् समय में से कुछ समय पुस्तकों को देते हैं जबकि मैं अपने ही कामों का रोना लिए बैठा रहता हूँ। खैर कोई बात नहीं आज तो मौका मिल रहा है उनके नहा-धो कर आने तक जरा इन विशिष्ट पुस्तकों पर हाथ फेर कर ही संतुष्ट हो लूँ। लेकिन आश्चर्य मैंने पुस्तकों को निकाला तो उनमें किसी के फिंगरप्रिंट मौजूद नहीं थे।
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment